मौसी की चूत का पानी पिया– 1 | Mausi Ki Chudai

मौसी की चूत का पानी पिया– 1 | Mausi Ki Chudai
Antarvasna Sex Story

चूत चुदाई के सभी खिलाड़ियों को मेरा प्रणाम। मैं रोहित एक बार फिर से आप सबके बीच में एक नई कहानी लेकर हाज़िर हूँ। मैं 20 साल का नौजवान लौंडा हूं। मेरे पास 7 इच का लंबा मोटा तगड़ा लण्ड है लेकिन अभी तक मेरे लंड ने चूत का स्वाद नहीं चखा है।

मेरा लण्ड अक्सर शादीशुदा मालो को देखकर बहुत ज्यादा टाइट हो जाता है लेकिन उनकी चूत में लंड डालने की मेरी हिम्मत नहीं होती है।मैं इसी तरह से मेरे लण्ड का पानी निकाल निकालकर काम चला रहा था लेकिन किसी चूत का पानी नहीं निकाल पा रहा था।

फिर मुझे कोचिंग करने के लिए कोटा आना पड़ा। यहाँ मेरी रजनी मौसी रहती है तो मेरे रहने का ििइंतज़ाम उनके घर पर ही हो गया। 

मेरी रजनी मौसी लगभग 36 साल की है।वो एक अच्छी औरत है।मैंने कभी भी मौसी को इधर उधर मुंह मारते हुए नहीं देखा।मौसी ठीकठाक तरीके की गौरी चिकनी है।उनका पूरा जिस्म भरा हुआ है।मौसी के बोबे लगभग 34 साइज के है। मौसी अपने बोबो को अच्छी तरह से ढककर रखती है। मैंने कभी भी मौसी के बोबो के नज़ारे नहीं देखे।

मौसी की गौरी चिकनी कमर लगभग 32 साइज की है। मौसी की कमर के ऊपर मौसी का मखमल जैसा पेट किसी को भी लंड मसलने पर मजबूर कर सकता है।

मौसी की चिकनी कमर के नीचे मौसी की मस्त सेक्सी गांड लगभग 34 साइज की है।उनकी गांड की कसावट बहुत ही ज्यादा शानदार है। अक्सर मौसी की साड़ी और टाइट चूड़ीदार पाजामे में मौसी की गांड का उभार अच्छी तरह से नज़र आता है। मौसी की गांड को देखकर किसी के भी लंड का भूगोल बिगड़ सकता है।

 मौसी के यहाँ रहकर मैं कोचिंग पर फॉक्स कर रहा था।कोंचिंग पर एक से बढ़कर एक सेक्सी लड़कियों को देखकर मेरा लण्ड बहुत ही ज्यादा तड़पने लगा। अब तो लंड को कंट्रोल करना मुझसे मुश्किल हो रहा था।फिर भी मैं टाइम निकाल रहा था। ऐसे ही दिन आगे बढ़ते जा रहे थे।

 अब एक दिन मैं जैसे ही बाथरूम से नहाकर रूम में गया तो मौसी के रूम का गेट खुला हुआ था।वो सिर्फ पेटिकोट और बलाउज में थी। मौसी का ये नज़ारा देखकर मेरा लण्ड बुरी तरह से टनटना गया।मौसी को देखकर मेरा लंड लोहे की रॉड बन चूका था। तभी मौसी की नज़र मेरे ऊपर पड़ी और मैं तुरंत मेरे रूम में चला गया।

अब मौसी का नज़ारा बार बार मेरी आँखों के सामने घूम रहा था।फिर मैंने लंड का पानी निकालकर खुद को शांत किया। फिर मैं कोचिंग चला गया। वहां भी पढ़ाई में मेरा दिमाग नहीं लग रहा था। बार बार मुझे मौसी का नज़ारा याद आ रहा था।

अब मैं घर पर बार बार मौसी के जिस्म को ताड़ने लगा। मौसी को देख देखकर मैं मौसी को चोदने के लिए लालायित होने लगा।फिर धीरे धीरे मैं किसी न किसी बहाने से मौसी को टच करने की कोशिश करने लगा। ऐसे ही दो तीन दिन निकल गए। लेकिन मौसी को चोदने के लिए मैं तैयार नहीं था। हालाँकि मेरा लण्ड तो मौसी की चूत के लिए तड़पने लगा था लेकिन मेरा दिल गवाही नहीं दे रहा था।

खैर लंड तो लण्ड होता है। वो कहाँ रिश्ता देखता है।लण्ड तो सिर्फ चूत ही देखता है जो मौसी के पास थी। इसी उलझन में फंस रहा था लेकिन मौसी को घर में ही चोदना मेरे लिये थोड़ा आसान था।फिर मैंने दिल की बात छोड़ी और लण्ड की बात मान ली।

अब मै मौसी को चोदने के लिए तैयार हो चूका था।अब मैं धीरे धीरे मौसी के साथ नजदीकियां बढ़ाने लगा। घर पर मौसाजी के ऑफिस जाने और बच्चों के स्कूल जाने के बाद घर पर मैं और मौसी ही होते थे। धीरे धीरे मैं मौसी के करीब आ रहा था।अब मुझे आगे बढ़ने की ज़रूरत थी।

अब एक दिन मैं बाथरूम में जानबूझकर टॉवल नहीं ले गया।फिर नहाने के बाद मैंने मौसी को टॉवल लेकर बुलाया।अब जैसे ही मौसी मुझे टॉवल देने लगी तो उनकी नज़र मेरे लंड पर पड़ी और वो मेरे लंड का नज़ारा देखकर सकपका गई।फिर मौसी टॉवल देकर चली गई। इधर मौसी को लण्ड का नज़ारा दिखाकर मैं बहुत ज्यादा खुश हुआ।

 अब अगले दिन मैंने फिर से यही हरकत की। अब धीरे धीरे मौसी मेरे इरादों को भांप रही थी लेकिन वो कुछ नहीं कह रही थी।इससे मेरी हिम्मत बढ़ती जा रही थी।अब मेरा लण्ड जल्दी से मौसी की चूत में जाना चाहता था।

अब मै मौसी को बजाने के लिए प्लान बनाने लगा। अब एक दिन मैंने मौसी को फुर्सत के पलों में मेरे साथ बैठा लिया और उन्हें मोबाइल में कुछ वीडियो दिखाने लगा।अब मौसी मेरे साथ बेड पर बैठकर वीडियो देखने लगी।फिर कुछ देर में ही मैंने हॉट वीडियो चालू कर दिया।अब जैसे ही वीडियो में हॉट सीन आने लगे तो मौसी काम का बहाना बनाकर जाने लगा लेकिन मैंने मौसी को हाथ पकड़कर वापस बैठा लिया।

अब मौसी मुझसे सटकर वीडियो देखने लगी। अब धीरे धीरे मेरा लंड पाजामे में तंबू बनाने लगा। अब मौसी की नज़र मेरे लंड के तंबू पर पड़ी और सकपकाने लगी। वो फिर से उठकर जाने की कोशिश करने लगी लेकिन मैंने मौसी को नहीं जाने दिया।फिर मौसी को पूरा हॉट वीडियो दिखाकर ही मैंने फ्री किया। तब तक मौसी गर्म हो चुकी थी। अब आज मैं फिर से एक कदम आगे बढ़ चुका था।

अब मैं नहाने चला गया।आज मैं मौसी को मेरे लण्ड के दर्शन करवाना चाहता था।अब नहाकर मैंने टॉवल लपेट लिया और फिर मौसी को मेरी अंडरवियर लाने के लिए कहा। कुछ देर बाद जैसे ही मौसी अंडरवियर लेकर आई तो मैंने स्टाइल से टॉवल को खोल दिया।

 अब मेरा खड़ा नंगा लंड मौसी के सामने था। मौसी मेरे लण्ड को देखकर भौचक्की रह गई।मेरे लण्ड को देखकर मौसी का मुंह सूख चूका था। तभी मौसी नज़रे ऊपर नीचे करने लगी और तुरंत वापस जाने लगी।तभी मैंने टॉवल उठाने का नाटक किया और मौसी को सॉरी बोला।मौसी को लण्ड दिखाकर मैं बहुत ज्यादा खुश हुआ।

 अब मौसी मुझसे दूर दूर रहने लगी। मोसी की दुरी मुझसे बर्दास्त नहीं हो रही थी। मैं मौसी को जल्दी से बजाना चाहता था।फिर मैंने मौसी को फिर से सॉरी कहा। अब मौसी नॉर्मल हो गई थीलेकिन मेरा इरादा बदला नहीं था।मैं फिर से मौसी को गर्म करने के बारे में सोच रहा था।

अब अगले दिन मौसी के नहाने से पहले ही मैंने मौसी की पेंटी और ब्रा में मेरे लंड का माल भर दिया। अब जैसे ही मौसी नहाने के लिए जाने लगी तो उनको सब पता चल गया।फिर मौसी ब्रा और पेंटी को लेकर मेरे पास आई।

मौसी– रोहित ये सब क्या है? यहाँ तू पढाई करने आया है या फिर ये सब करने?

मैं– सॉरी मौसी।मुझसे गलती हो गई। मैं ये सब नहीं करना चाहता था लेकिन मुझसे कंट्रोल नहीं हो रहा था तो मैंने ये सब कर दिया।

मौसी– तो तुझे ये गन्दा काम करने के लिए मेरे ही कपडे मिले क्या? और कोई नहीं है क्या?

मैं– मौसी मुझे आप बहुत अच्छी लगती हो। आप बहुत ज्यादा हॉट और सेक्सी हो।आपको प्यार करने का बहुत ज्यादा मन करता है।

तभी मेरी बातें सुनकर मोसी आग बबूला हो गई।

मौसी– बकवास बंद कर और पढाई पर ध्यान दे।

मैं– मौसी अब मुझसे पढाई नहीं हो रही है।मैं तो अब बस आपको प्यार करना चाहता हूँ।

मौसी– पागल हो गया क्या तू?मैं  तेरी मौसी हूँ। तू मेरे बारे में ऐसा सोच भी कैसे सकता है?

मैं– मौसी होने में तो सबकुछ हो सकता है।अगर आप मान जाओ तो।

मौसी– नहीं ये सब गलत है।तू आगे से अब ऐसी हरकतें मत करना।

और इतना कहकर मौसी वापस चली गई। इधर मौसी को चोदने के लिए मेरा लंड आउट ऑफ कंट्रोल हो रहा था।फिर थोड़ी देर बाद मौसी नहाकर वापस आ गई। अब वो साड़ी पहनकर तैयार होने लगी।मौसी को देख देखकर मेरे लंड का पारा चढ़ रहा था। आज तो मैं मौसी को बजाना ही चाहता था। अब मैं मौसी के रूम में चला गया। अब मैंने हिम्मत करकर मौसी को बोल ही दिया।

मैं– मौसी चुदवा लो ना यार।

मौसी– रोहित तू पागल हो गया क्या? मैंने थोड़ी देर पहले क्या समझाया था? तुझे समझ में नहीं आया क्या?

मैं– नहीं आया मुझे समझ में। मैं तो बस आपसे प्यार करता हूँ।

मौसी– अरे यार मैं तेरी मौसी हूँ।और ये सब गलत है।

मैं– मौसी इसमें कुछ गलत नहीं है। क्या आप चाहती हो कि बाहर जाकर किसी कहीं और मुंह मारू? अगर ऐसा करूँगा तो मौसी मेरी भी बदनामी होगी और आपकी भी। और अगर आप मेरा साथ दे दोगी तो घर की बात घर में ही रहेगी। किसी को कुछ पता भी नहीं चलेगा।

मौसी– रोहित मुझे तेरी बात नहीं माननी है। बस।

मैं बार बार मौसी को समझा रहा था लेकिन मौसी चूत देने को तैयार नहीं हो रही थी।लेकिन मैं भी पीछे हटने वाला नहीं था।आज घर मे मैं और सिर्फ मोसी ही थी और ये मौसी को चोदने के लिए मेरे पास सबसे अच्छा मौका था। 

तभी मैंने मौसी को पकड़कर खिंचा और उन्हें बेड पर पटक दिया।मौसी उठन  की कोशिश करने लगी लेकिन मैंने मौसी को दबोच लिया।   तभी मै मौसी के होंठो पर टूट पड़ा और उन्हें उन्हें बुरी तरह से चूसने लगा।।मैं मौसी के रसीले होंठो को जल्दी जल्दी चूस रहा था।

मैंने मोसी के होठो को अच्छी तरह से लोक् कर रखा था। फिर मैंने मौसी के रसीले होंठो को बुरी तरह से चुस् डाला। “

अब मैंने मौसी की साड़ी का पल्लू हटा दिया और उन्हे ब्लाउज के ऊपर से ही मोसी के बोबो को दबाने लगा। तभी मौसी मुझे रोकने की कोशिश करने लगी। 

” रोहित यार रहने दे किसी को पता चल जाएगा। “

 ” मौसी आज अपने अलावा और कोई नही है घर मे। किसी को कुछ पता नही चलेगा। “

  ” नही यार रोहित मत दबा। “

   ” दबाने दो मौसी। “

   मै ब्लाउज के ऊपर से मौसी के बोबे दबा रहा था। अब मौसी दर्द के मारे तड़पने लगी। 

  ” आह्ह आह्हा सिसस उन्ह ओह्ह्ह्। 

   ” ओह्ह्ह मौसी बहुत ही मस्त बोबे है आपके आहहा। “

अब मैं तुरंत मौसी के बलाउज को खोलने लगा लेकिन मौसी ने बलाउज नहीं खोलने दिया। 

 ” नही रोहित अब आगे कुछ मत कर। “

 ” आज तो सबकुछ करूँगा मौसी। “

 अब मैं तुरंत मौसी की टांगों पर आ गया और मौसी की पेंटी खोलने लगा।

मौसी– रोहित पागल हो गया क्या तू?ये तू क्या कर रहा है?

मै– वही कर रहा हू मौसी जो मुझे करना चाहिए।

मौसी– नहीं यार ऐसा मत कर।

मौसी उनकी पेंटी को बचाने के लिए पूरा जोर लगा रही थी लेकिन मैं भी पीछे नहीं हट रहा था।मेरा एक हाथ मौसी की पेंटी को पकडे हुआ था तभी मैंने मौसी को ज़ोर का झटका दिया और उनकी पेंटी को खोल फेंका।पेंटी खुलते ही मौसी की गांड फट गई।तभी मैंने मौसी की टांगो को फैला दिया। अब मौसी की चमचमाती चुत के मेरे लँड को दर्शन हो चुके थे। 

 तभी मौसी वापस टाँगे बंद करने लगी लेकिन मैंने मौसी की टाँगो को अच्छी तरह से पकड लिया। 

  ” रोहित यार। तु रुक् जा ना। “

   ” क्या आप मौसा जी को भी ऐसे ही मना करती हो क्या? “

    ” नहीं। “

   ” तो फिर डालने दो लंड। “

तभी मौसी चुप हो गई।  अब वो चुदने के लिए तैयार थी। अब मैंने मौसी की चूत मे लंड सेट कर दिया।अब मैंने मौसी की टांगो को पकड़ा और ज़ोर से धक्का देकर लंड मौसी की चूत में ठोक दिया।मेरा लण्ड दनदनाता हुआ मौसी की चूत को फाड़ता हुआ उनकी चूत की जड़ में जा बैठा।चूत में लण्ड ठुकते ही मौसी ज़ोर से चीख पड़ी।

मौसी– आईईईई मम्मी मर गई।आईईईईई आईईईई ओह रोहित।बहुत दर्द हो रहा है।आईईईई आईईईई।

तभी मैंने मौसी की चूत में फिर लण्ड ठोका और फिर मौसी को ज़ोर जोर से चोदने लगा।अब मौसी बुरी तरह से चुदने लगी।मेरा लण्ड मौसी की चूत के अस्थि पंजर को तोड़ रहा था।मौसी ज़ोर ज़ोर से चीख रही थी।

मौसी–आईईईई आईईईई आह आह आह आईईईई आईईईई आह आह आह आह ओह रोहित धीरे धीरे……….. आईईईई ओह मम्मी।

मैं मौसी की चूत में ज़ोर ज़ोर से लण्ड ठोक रहा था।आज बहुत दिनों बाद मेरे लण्ड को चूत मिल रही थी।मैं आज मेरे लण्ड की आग को बुझाना चाहता था।मौसी पर मेरा लण्ड कहर ढा रहा था।मुझे मौसी को चोदने में बहुत ज्यादा मज़ा आ रहा था।मौसी दर्द भरी चीखो से गरज़ रही थी।

मौसी– आह आह आह आईएईई आह आह आहः ओह उन्ह आह आईईईई ओह अआईईई मम्मी।मर गई।आह आह ओह रोहित धीरे धीरे डाल।बहुत दर्द हो रहा है।

मौसी दर्द से चीख रही थी।मैं मौसी की चूत में फूल स्पीड में लण्ड ठोक रहा था। सामने लगी तस्वीर मे मौसी मौसा जी के साथ मुस्कुरा रही थी लेकिन आज मौसी मेरे लँड के नीचे दर्द से तड़प रही थी। आज मैं मौसा जी की स्वीट् हार्ट को अच्छी तरह से चोद रहा था। 

” आह्हा आह्हा ओह्ह्ह् आईई आईई। ओह्ह्ह् मम्मी। “

मेरे लंड की ज़ोरदार ठुकाई से मौसी पसीने मे लथपथ हो चुकी थी। तभी मौसी की चूत मे उबाल आ गया और उनकी चूत के रस् मे मेरा लंड बुरी तरह से भीग गया। 

” आहहा आहहा ओह्ह्ह्ह् मम्मी उन्ह आहहा सिसस बहुत भारी लंड है तेरा आहहा आहहा। “

” हाँ मौसी। “

मै जमकर मौसी की चूत मे लंड पेले जा रहा था। अब मौसी के सारे नखरे खत्म हो चुके थे। फिर मैंने मौसी को बहुत देर तक ऐसे ही बजाया। 

अब मैंने मौसी की साड़ी निकाल दी और फिर उनके पेटीकोट को भी खोल फेंका। अब तो मौसी बुरी तरह शरमाने लगी। वो नीचे से पूरी नंगी हो चुकी थी। 

                    अब मैंने मौसी की चूत मे फिर से लंड सेट कर दिया और फिर मौसी को फोल्ड कर दिया। अब मैं मौसी को फोल्ड करके चोदने लगा।अब मुझे मोसी को फोल्ड करकर चोदने में बहुत ज्यादा मज़ा आ रहा था।अब मैं झमाझम गांड हिला हिलाकर मौसी की चूत में लण्ड पेल रहा था।

              ” अआईईई अआईईई आईएईई आह्ह अआह ओह मम्मी अआईईई अआईईई सिससस्स आह्ह आहा अआहः आह्।”

             ” आहहा बहुत मज़ा आ रहा है मौसी। आहहा आज बहुत दिनों के बाद मेरे लँड को चूत मिली है। आहहा आज तो आपको चोद चोदकर ढोल बना दूंगा। “

              ” आहहा आहहा आईए आईई आहहा ओह्ह्ह्ह रोहित आहहा। “

                                अबकी बार मैं जबरदस्त तरीके से मौसी को चोद रहा था।पूरा बेडरूम मेरे लण्ड के झटकों की आवाज़ों से गूंज रहा था।मेरा लण्ड मौसी की चूत की गहराई को नाप रहा था।मौसी बुरी तरह से चुद रही थी।

मौसी– अआईईई अआईईई आहा आहा उन्ह आहा आहा अआईईई धीरेरेरेरे….. आह्ह आह्ह आहहह अआईईई सिससस्स आहा अआईईई।

                            मेरे लण्ड के ज़ोरदार धक्कों के नीचे मौसी कुछ ही देर में पिघल गई। उनकी चूत फिर से पानी पानी हो गई थी। मै मौसी की चूत में ज़ोरदार धक्के जड़ रहा था। मेरे लँड के झटको से मौसी बुरी तरह से झल्ला रही थी। फिर मैंने मौसी को थोड़ी देर ऐसे ही फोल्ड कर बजाया। 

                अब मैं मौसी के बलाउज के हुक खोलने लगा । इस बार मौसी ने मुझे नही रोका। मौसी अच्छी तरह से समझ चुकी थी कि अब मुझे रोकने का कोई फायदा नही है। अब मैंने उनके बलाउज के हुक खोल दिए।अब मैंने तुरंत मौसी के बलाउज को खोल फेंका।अब तो मौसी के जिस्म पर केवल ब्रा ही बाकी थी।फिर क्या था! मैंने मौसी की ब्रा भी उतार फेंकी।अब मौसी के रसीले बोबे मेरे सामने नंगे हो चुके थे।

                               अब मै मौसी के बोबो को ज़ोर ज़ोर से दबाने लगा। मौसी के रसीले बोबो को दबाने में मुझे बहुत ज्यादा मज़ा आ रहा था। मौसी दर्द से तड़प रही थीं।मैं तो मौसी के बोबो को बहुत बुरी तरह से निचोड़ रहा था।

मौसी– अआहः उँह आहहह अआहः अआईईई सिससस्स ओह अआ अआईईई।

                          आज मै मौसी का पूरा मज़ा लूट रहा था। मौसी के बोबो को मसलने में मुझे बहुत ज्यादा मज़ा आ रहा था। बड़ी मुश्किल से मौसी बोबेे मेरे हाथ में आ रहे थे। कुछ ही देर में मौसी के बोबे लाल हो चुके थे।

मौसी– अआईईई अआईईई ओह अआहः आह्ह आह्ह ओह आहा आहा धीरे धीरे……… ओह मम्मी।

मैं– ओह मौसी आहा बहुत मज़ा आ रहा है। बहुत मस्त बोबे है आपके।

                            फिर मौसी के बोबो को बुरी तरह से निचोड़ कर मैंने मौसी के बोबो को मुंह में भर लिया और उन्हें रगड़ रगड़कर चूसने लगा। आह! बहुत ही मस्त टेस्ट था मौसी के बोबो का! मूझे बहुत ही ज्यादा मज़ा आ रहा था।

                       “उन्ह मौसी अहा बहुत मज़ा आ रहा है।अहा बहुत टेस्टी है।”

                           अब मोसी बेचारी क्या कहती? उन्होंने तो बोबो को मेरे लिए खुला छोड़ दिया था। मैं खूब रगड़ रगड़कर मौसी के बोबो को चुस रहा था। मुझे मौसी के बोबे चूसने में बहुत मज़ा आ रहा था।

            “उन्ह मौसी आहा।”

                       फिर कुछ ही देर में मैंने मौसी के दोनों बोबो को बुरी तरह से चुस डाला। अब मैंने मौसी को पलट दिया और उन्हे घोड़ी बनने के लिए कहा। तभी मौसी घोड़ी बनंने मे नखरे करने लगी। 

          ” मै घोड़ी नही बनूंगी। “

        ” मौसी अब इतने भी नखरे मत दिखाओ। “

       ” यार तू बिना घोड़ी बनाए ही कर ले ना। “

        ” नही मौसी अब तो मै आपको घोड़ी बनाकर ही बजाऊंगा। “

              अब मौसी के पास और कोई चारा नही था। तभी मौसी बेड पर ही घोड़ी बन गई।  अब मैंने  मौसी की चूत में लंड फंसाया और फिर से मौसी की ताबड़तोड़ ठुकाई करने लगा।मौसी की चूत में एकबार फिर से खलबली मच गई।

                 “आहः आह आह आईईईईई आह आहः आह ओह उन्ह ओह आईईईईई ओह रोहित धीरे धीरे…… आह आह आईईईईई मम्मी मर गई।आह आह ओह उन्ह आईईईईई आईईईईई।”

                 ” आह्ह मौसी बहुत मज़ा आ रहा है। आह्ह।”

                        ।मै मौसी की चूत में  जल्दी जल्दी लण्ड ठोक रहा था। मुझे मौसी को घोड़ी बनाकर बजाने में बहुत ज्यादा मज़ा आ रहा था। मौसी घोड़ी बनकर जमकर लण्ड ले रही थी।

                 ” ओह रोहित तेरा लण्ड तो कमाल का है। आह्ह। बहुत ज्यादा मज़ा आ रहा है। आहाहा आह्ह आह्ह।”

                        “ओह मौसी घोड़ी बनाकर बजाने में तो मज़ा ही बहुत आता है।।आह्ह।”

                       ” आह्ह आह्हा ओह्ह्ह् सिसस आह्हा ओह्ह्ह्।”

                   मैं मौसी को घोड़ी बनाकर ताबड़तोड़ बजा रहा था। मेरे लंड मौसी की चीखे निकाल रहा था। मौसी भी बुरी तरह से चुद रही थी। तभी मौसी का पानी  निकल गया। अब मैंने मौसी की कमर छोड़ दी और उनके बालो की चोटी बनाकर बजाने लगा। अब मौसी मुँह ऊपर करके लंड ठुकवा रही थी। 

              ” आह्हा आह्हा ओह्ह्ह्ह सिसस आह्हा। “

         ” ओह्ह्ह् मौसी कमाल की माल लग रही हो आप। आह्हा। “

             ” आह्हा आह्हा आईई आह्हा आह्हा ओह्ह्ह् “

          मै मौसी को जमकर बजाए जा रहा था। फिर थोड़ी देर के घमासान के बाद अब मेरा लंड भी पानी पानी होने वाला था। अब मैंने मौसी की चूत मे लंड रोक दिया और लंड का पूरा पानी मौसी की चूत में भर दिया। तभी मौसी ऐसे के ऐसे ही बेड पर पड़ गई। 

                    अब मैं मौसी के ऊपर उनके जिस्म से लिपट गया। मौसी की चूत में लण्ड का पानी भरकर मैं बहुत ज्यादा खुश था।मौसी बहुत बुरी तरह से चुद चुकी थी।

                 ” मज़ा आ गया मौसी उँह। “

             ” बहुत बुरी तरह से बजा दिया तूने। “

      ” क्या करूँ मौसी चुत् के लिए मेरा लंड बहुत तड़प रहा था। “

        ” रोहित तु बहुत चालाक निकला। तूने मेरी ले ही ली। “

                             “हाँ मौसी। “

कहानी जारी है…… मौसी की चूत का पानी पिया–2

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